हॉट आंटी पोर्न कहानी में पढ़ें कि मेरे पड़ोस में रहने वाली एक आंटी ने झीने वस्त्र पहन कर मुझे अपने शरीर के दीदार कराये, मेरी वासना को हवा दी अपनी मालिश करवा के! फिर मैंने क्या किया? “wild sex kahani”
दोस्तो, मैं सन्नी आपकी सेवा में अपनी देसी आंटी की चुदाई की कहानी के अगले भाग में आपका स्वागत करता हूँ.
कहानी के पहले भाग
पड़ोसन आंटी ने दिखाए हुस्न के जलवे
में अब तक आपने पढ़ लिया था कि आंटी मुझसे अपने जिस्म की गर्म तेल से मालिश करवाने को राजी हो गई थीं.
अब आगे हॉट आंटी पोर्न कहानी:
आंटी बोलीं- ठीक है, पर मुझसे नहीं होगा. तुम मालिश कर दोगे क्या, प्लीज़ मैं तुम्हारी भी कर दूँगी.
मैंने कहा- ठीक है, तेल कहां है, गर्म कर लाता हूँ.
वो बोलीं- वहीं रसोई में है.
मैं गया और तेल गर्म किया. फिर लाया और बोला कि बताओ मालिश कहां करनी है?
आंटी इशारे से बताने लगीं.
मैंने कहा- आप लेट जाओ.
आंटी लेट गईं.
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फिर मैंने कहा- नाइटी ऊपर करनी पड़ेगी.
उन्होंने बोला- तुम ही कर दो ना प्लीज़!
मैंने उनकी नाइटी को ऊपर किया.
उनकी पूरी गोरी गोरी जांघें और मक्खन से पैर एकदम रुई की तरह मुलायम थे.
फिर मैंने आंटी की नाइटी कमर तक उठा कर उनकी जांघ की मालिश करना शुरू की.
पहले तो उनको टच करने पर ही बड़ा दर्द हो रहा था.
धीरे धीरे उन्हें आराम मिलने लगा.
आंटी बोलीं- सन्नी, तेरे हाथों में तो जादू है.
मैंने उनके दोनों पैरों की मालिश की तो आंटी बोलीं- सन्नी बेटा, कमर भी कर दो. वहां भी चोट लगी है.
मैंने कहा- ओके, तो नाइटी को और ऊपर कर देता हूँ. कोई दिक्कत तो नहीं है?
आंटी बोलीं- तुझे जो करना है, वो कर.
मैंने आंटी की नाइटी को ब्रा तक ऊपर कर दी और मालिश करने लगा.
तभी मैंने देखा कि उनकी गांड ऊपर की तरफ़ फूली हुई है.
मेरा मन कर रहा था कि उसको अपने मुँह से चाट लूँ.
आंटी बोलीं- थोड़ा नीचे भी कर दे.
मैंने कहा- आंटी आपकी पैंटी में तेल लग जाएगा.
उन्होंने कहा- प्लीज़ तुम मेरी पैंटी को थोड़ा नीचे कर दो.
मैंने कहा- आंटी, मेरे दोनों हाथों में तेल लगा है.
वे बोलीं- रूको, मैं खुद ही पैंटी नीचे कर देती हूँ.
उन्होंने आधी पैंटी नीचे कर दी, जिससे उनकी आधी एकदम गोरी और मुलायम सी गांड मेरे सामने थी.
यार बता नहीं सकता, उस टाइम मेरा दिल कितना तेज़ी से धड़क रहा था.
उनकी गांड की वो लाइन मुझे पागल कर रही थी.
आंटी बोलीं- क्या हुआ … रुक क्यों गया. अब थोड़ा नीचे तक लगा दो ना! मैं तुम्हारे में लगा दूँगी.
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उनकी इस तरह की दोहरे अर्थ वाली बातें मुझे और ज्यादा कामुक बना रही थीं.
मैं तेल लगाने लगा.
मेरी हिम्मत नहीं हो रही थी कि मैं उनकी गांड की दरार में उंगली करूं या उसे टच करूँ!
फिर आंटी बोलीं- थोड़ा नीचे भी लगा दे.
मैंने नीचे मालिश की.
आंटी बोलीं- जहां तक मैंने पैंटी नीचे की है, वहां हाथ डाल कर मालिश कर दो ना!
मुझे तो मानो मन की मुराद पूरी होती सी लगी.
मैंने हाथ में ज्यादा सा तेल लिया और उनकी गांड को टच करने ही वाला था कि आंटी बोलीं- सन्नी थोड़ा गांड के छेद पर भी लगा देना, वहां भी चोट लग गई है.
मैं उनके मुँह से गांड शब्द सुन कर हैरान था और पागल सा हो गया था.
मैंने उनके पैर फैलाए और छेद को उंगली से टच किया.
सच में बहुत सॉफ्ट था. मेरे हाथ लगाते ही आंटी की गांड ने जरा कसमसाहट दिखाई.
मुझे मज़ा आ रहा था. मैंने उनकी गांड के छेद में अपनी उंगली पेल कर मालिश की.
थोड़ी देर बाद आंटी बोलीं- हो गया क्या?
मैंने कहा- हां.
आंटी उठने लगीं.
मैंने कहा- आंटी, आपकी नाइटी और पैंटी में तेल लग जाएगा!
वे बोलीं- हां पर कोई बात नहीं. सच में सन्नी तूने मेरा सारा दर्द गायब कर दिया. अब तू लेट जा, मैं तेरी भी मालिश कर देती हूँ.
मैं लेट गया.
वे बोलीं- बता कहां लगाना है, चोट किधर लगी है?
मैंने दिखा दिया.
फिर आंटी ने अपनी पैंटी खोल कर मेरे मुँह के पास फेंक दी और बोलीं- मैं और तेल लेकर आती हूँ.
मैं उनकी पैंटी की महक ले रहा था.
आंटी आईं और बोलीं कि टी-शर्ट ऊपर कर दे.
मैंने कर दिया.
आंटी तेल डाल कर लगाने लगीं. तभी आंटी को पता नहीं क्या हुआ, उन्होंने मेरी पैंट खोल दी और गांड के नीचे तक सरका दी.
मैंने कहा- ये क्या?
वे बोलीं- वहां भी लगी होगी, तू लेटा रह. मैं कर रही हूँ ना!
आंटी मेरी गांड की मालिश करने लगीं.
कुछ देर बाद वे बोलीं- जरा रुक, मैं बेड पर बैठ कर मालिश करती हूँ.
मैं बेड के साइड में को लेटा था.
आंटी ने अपनी नाइटी उठाई और मेरी गांड पर अपनी गांड रख कर बैठ गईं और मालिश करने लगीं.
उनकी गांड मेरी गांड से रगड़ कर इतना ज्यादा मज़ा दे रही थी कि क्या बताऊँ.
मेरा लंड नीचे बेड में घुस रहा था.
आंटी अपनी गांड को कुछ तेजी से मेरी गांड पर रगड़ने लगीं और साथ में वो तेल भी लगा रही थीं.
कभी वो अपनी गांड से मेरी पीठ तक की मालिश भी कर रही थीं.
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उनकी गांड के पास काफी गीला हो गया था, इसका मतलब था कि शायद वो झड़ गई थीं.
फिर वो बोलीं- लो हो गई मालिश, अब कपड़े पहन लो.
आंटी खड़ी हुई और बोलीं कि 8 बज गए हैं. मैं खाना बना लेती हूँ. तू फ्रेश हो जा.
तभी आंटी ने मेरा खड़ा लंड देख लिया. वो पूरा टाइट था.
आंटी स्माइल कर रही थीं.
फिर आंटी रसोई में जाने लगीं तो उनकी नाइटी से उनकी नंगी गांड मटक रही थी. मुझसे रहा नहीं जा रहा था.
बाद में मैंने बाथरूम में जाकर लंड हिलाया और बाहर आ गया.
फिर हम दोनों ने खाना खाया. रात के 10 बज गए थे.
मैं आंटी से कह कर सोने जाने लगा.
आंटी बोलीं- अरे आज यहीं रुक जा ना … मेरी कमर में थोड़ा दर्द होने लगा है. तू मालिश कर देगा तो सही हो जाएगा.
मैंने कहा- हां ठीक है.
अब हम दोनों बेडरूम में आ गए.
आंटी बोलीं- सुन ना सन्नी … तेरे हाथों में ना जादू है. अगर तू पूरी बॉडी की मालिश कर देगा, तो बड़ा चैन मिल जाएगा.
मैंने उनकी मंशा भाँपते हुए ओके बोल दिया और कहा- पूरी बॉडी की मालिश के लिए आपको पूरे कपड़े उतारने पड़ेंगे!
मेरे मुँह से ये सुनते ही उन्होंने तुरंत नाइटी उतार दी और ब्रा भी निकाल दी.
वे सिर्फ चूत पर चड्डी पहने हुई बाकी पूरी नंगी हो गई थीं.
मुझे अपने दूध दिखाती हुई बेड पर चित लेट गईं.
उनके दूध एकदम ठोस थे और छत की ओर तने हुए थे.
फिर जैसे ही मैं उनके जिस्म में तेल लगाने के लिए तेल लेने वाला था, आंटी बोलीं- तू भी अपने कपड़े खोल ले, वरना तेरे कपड़ों में भी तेल लग जाएगा.
मैंने भी अपने कपड़े खोल दिए और नंगा हो गया.
तब मैं अपने हाथ में तेल टपका कर उनसे बोला- बताओ, पहले कहां से शुरू करना है?
आंटी पलट कर मेरे लंड को देखती हुई अपनी चड्डी सरकाती हुई बोलीं- तू मेरे ऊपर बैठ जा और जल्दी से मालिश कर दे. मुझे बड़ी नींद आ रही है.
मैंने वैसा ही किया.
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आंटी पेट के बल लेटी थीं तो उनकी गांड पर बैठ कर मालिश करने लगा.
मेरा लंड उनकी गांड की गली में पूरा घुसा जा रहा था.
कुछ देर तक मैंने आंटी की गांड में लंड रगड़ा और उनसे कहा- अब सीधी हो जाओ आंटी.
मैं हट गया, वो चित हो गईं.
फिर मेरा खड़ा लंड देख कर बोलीं- सन्नी तेरा लंड तो बहुत टाइट हो गया … क्या हुआ, इसको क्या चाहिए?
मैंने कहा- कुछ नहीं, आपको देख कर इसे गर्मी चढ़ गई.
वे हंसने लगीं और उन्होंने अपनी आंखें बंद कर लीं.
मैं सोचने लगा कि आंटी की हां समझूँ या ना.
फिर मैं उनके ऊपर दोनों साइड पैर करके चढ़ गया और उनके मम्मों की मालिश करने लगा.
आंटी के मुँह से बस ‘उह ऊहह आहह …’ की आवाज आने लगी और उनकी चूत के पास मेरा लंड टच होने लगा.
आंटी बोलीं- मुझे थोड़ा पैर खोलने दो सन्नी, मेरी जांघ की मालिश भी कर दो.
मैंने वैसा ही किया.
आंटी के दोनों पैरों के बीच में मैं बैठ गया था और उनकी जांघों की मालिश करने लगा.
आंटी बोलीं- मेरी छातियों की दुबारा मालिश कर दो.
मैं उनके पैरों के बीच में ही बैठ कर थोड़ा झुक कर उनके मम्मों की मालिश करने लगा.
इससे मेरा लंड उनकी चूत के मुँह पर पूरा रगड़ खा रहा था.
आंटी भी अपनी गांड उठाया कर चूत को लंड से रगड़ रही थीं और लंड को अन्दर घुसवाने की कोशिश कर रही थीं.
आंटी की चूत पूरी गीली हो चुकी थी.
तभी आंटी ने मुझे ज़ोर से पकड़ा और अपनी तरफ खींचा.
जिससे मेरा पूरा लंड आंटी की चूत में घुस गया और वे ज़ोर से चीख पड़ीं ‘आआहह उफ्फ़ आहह सन्नी.’
मैंने सॉरी बोला.
तो आंटी बोली- सॉरी नहीं … लंड और अन्दर चाहिए. तेरी आंटी की चूत यही मोटा वाला मांग रही है. अब अन्दर घुस ही गया है, तो चोद दे ना … प्लीज़ सन्नी. मेरी प्यास बुझा दे.
आंटी मेरे होंठों को चूसने लगीं, काटने लगीं.
मुझे ये सब समझ में नहीं आया कि ऐसा क्या हो गया, जो आंटी इतनी बेकरार हो गईं.
पर मुझे भी मजा आ रहा था, तो मैंने भी धीरे धीरे उनकी चूत चोदना शुरू कर दिया.
वो बस ‘आअहह सन्नी मेरी जान चोद दे आह उफ्फ़ सन्नी थोड़ा और तेज़ पेलो मुझे और तेज तेज चोदो आह.’ कर रही थीं.
मैं तेज़ तेज अन्दर बाहर करने लगा.
उनको दर्द होने लगा तो उन्होंने कहा- आह … साल भर से अंकल ने लंड नहीं डाला है बेटा … मेरी चूत में दर्द हो रहा है … आराम से कर सन्नी.
मैं हौले हौले लंड को चूत में चलाने लगा.
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उन्होंने कहा- दूध भी पियो ना मेरी जान!
मैं आंटी के एक दूध को मुँह में लेकर पीने लगा और साथ ही साथ उनकी चूत को चोदे जा रहा था.
वो मेरे बाल पकड़ कर मुझे अपने दूध में घुसा रही थीं, फिर कान में बोलीं- जब तुम बेड साइड में करते टाइम मेरी चोद रहे थे उफ्फ़ कितना मजा आ रहा था. तुम उस वक्त मेरी गांड में अपना लंड दबा रहे थे … आआहह सन्नी तभी मेरा मन करने लगा था कि तुम्हारा लंड अपनी चूत में डाल लूँ … आअहह.
मैंने कहा- मेरा भी दिल कर रहा था कि आपकी गांड में लंड डाल कर बहुत पेलूँ … पर डर लग रहा था कि कहीं आप बुरा ना मान जाओ.
वो बोलीं- सच में सन्नी उसी समय पेल देते तो मजा या जाता.
मैंने कहा- चलो आंटी उसी तरह से करते हैं. आप घोड़ी बनो.
वो तुरंत बन गईं और मैंने उनकी चूत को पहले किस किया, गांड को थोड़ी देर चाट और फिर लंड डाल कर चोदने लगा.
आंटी बोलीं- शादी के बाद आज पहली बार इतना मज़ा आ रहा है सन्नी … प्लीज़ पूरी ताकत से चोदो … आह और ज़ोर से चोदो … सच में बहुत मज़ा आ रहा ही आआहह … उम्म्मार आराम से जान, मैं समझ रही हूँ कि तू भी भूखा है पर आराम से खा. अब तेरी आंटी हमेशा के लिए तेरे लंड की हो गई.
मैंने आंटी को चूम लिया.
‘अब मत डरना, जब मन करे, तेरी आंटी की चूत चुदाई करने वास्ते तुम्हारे लिए खुली है … आआहह अभी 15 दिनों तक तो बिंदास पेलो … उउउहह.’
मैं भी धकापेल लगा हुआ था.
फिर आंटी बोलीं- आह सन्नी मैं झड़ने वाली हूँ.
मैंने कहा- मेरा अभी बाकी है.
उन्होंने कहा- तू मत रुक, तू चोदता रह.
आंटी झड़ गईं और उनकी गर्मी से मैं भी पिघलने को हो गया.
मैंने आंटी से कहा- आंटी मेरे लंड को आप अपने मुँह में ले लो.
वो तुरंत आगे को हुईं और मुँह में लंड घुसा कर किसी जानवर की तरह लंड चूसने लगीं.
फिर 10 मिनट बाद मैंने उनको खड़ा किया और झुका दिया.
मैं अभी जरा और बाकी था तो उनकी चूत में लंड डाल कर वापस चोदने लगा.
आंटी कराहने लगीं- उउउहह उफ्फ़ बस और तेज़ नहीं सन्नी … मर जाऊंगी.
मगर मैं रुका ही नहीं.
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अब मैं झड़ने को हुआ तो पूछा कि कहां झड़ जाऊँ?
वो बोलीं- चूत में ही … पर जल्दी कर, मुझसे अब बर्दाश्त नहीं हो रहा है.
मैंने तेज तेज कुछ शॉट मारे और उनकी चूत में ही झड़ गया.
मैंने थोड़ी देर उनकी चूत में ही लंड डाले रखा.
हॉट आंटी पोर्न प्ले के बाद हम दोनों काफी थक गए थे.
मैं बेड पर चित लेट गया.
वे बाथरूम चली गईं.
जब आंटी वापस आईं तो मेरा लंड गीला था, उस पर उनकी चूत का रस चमक रहा था.
उन्होंने मुँह में लंड लेकर चूसा और उसे साफ कर दिया.
वे फिर से बाथरूम गईं और वापस आकर मेरे ऊपर नंगी ही लेट गईं.
अब आंटी बोलीं- सन्नी थैंक्यू सो मच, आज तुमने मेरी ज़िंदगी की वो खुशी दी, जो मुझे आज तक नहीं मिली थी. मुझे औरत होने का सुख आज महसूस हुआ.
आंटी ने मेरे सर पर क़िस किया और बोलीं- आई लव यू सन्नी, मुझे तुमसे प्यार हो गया है. हमेशा मेरे रहोगे क्या? मुझे तुम्हारे इस प्यार की बहुत ज़रूरत है.
मैंने कहा- हां मैं हमेशा आपका रहूँगा.
फिर हम दोनों सो गए और यह सिलसिला आज तक चल रहा है.
आज भी मैं उनको प्यार से चोदता हूँ. वो मेरे लंड की दीवानी हैं.
आपको मेरी हॉट आंटी पोर्न कहानी कैसी लगी, प्लीज मेल करें.
viratkaran650@gmail.com